मोदी सरकार का 8 साल देश के लिए हानिकारक साबित हुआ

रायपुर: प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि मोदी भाजपा की सरकार देश के लिए हानिकारक साबित हुई है बीते 8 साल में मोदी सरकार कोई ऐसा कार्ययोजना नही बना पाई जिसके चलते देश की जनता की भलाई हुई हो। हर तरफ महंगाई परेशानी और तनाव दिख रहा है तीन काले कृषि कानून लाकर कृषि क्षेत्र को प्रभावित किया गया।

पेट्रोल डीजल में मनमाना एक्साइज ड्यूटी लगा कर महंगाई की आग में घी भी डाला गया। अनियमित जीएसटी के चलते व्यापार-व्यवसाय तबाह हो गए। बेरोजगारी के मामले में देश 45 साल पुराने हालात में खड़ी हुई है। अर्थव्यवस्था ऑक्सीजन पर है और देश के ऊपर 153 लाख करोड़ का कर्ज चढ़ गया  विदेशी मुद्रा भंडार निम्न स्तर तक पहुंच गया मोदी सरकार के मनमानी का असर घर-घर तक दिख रहा है।

किचन से लेकर दुकान तक शासकीय कर्मचारियों से लेकर उद्योगपतियों तक सभी को प्रभावित किया है। उच्च शिक्षा के लिए छात्रों को भी बैंक में भारी ब्याज दर में कर्ज लेना पड़ रहा है, मोदी सरकार सिर्फ हवा हवाई और विज्ञापन बाजी तक सीमित है उनकी योजना धरातल पर कहीं नहीं दिखती है जनता हताश और परेशान है खा रहे हैं और मोदी सरकार को चुनने वाली जनता मायूस है।

प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि देश की जनता जिस खस्ता हालात में है उसमें राहत देने के बजाय मोदी सरकार के द्वारा बैंक के ब्याज दर में की गई वृद्धि ने महंगाई की आग में घी डालने का काम किया है। इससे महंगाई नियंत्रित होने के बजाय और ज्यादा घातक रूप ले रही है।

मोदी सरकार  के आठ साल को देश में कमरतोड़ महंगाई, बढ़ती बेरोजगारी, गिरती अर्थव्यवस्था, बिकते सरकारी कम्पनियों एवं जनविरोधी हठधर्मिता और मनमानी के लिए जाना जाएगा। मोदी सरकार के पास देश की जनता के बेहतरी के लिए कोई भी विजन और प्लान नहीं है मोदी सरकार हम दो हमारे दो के नीतियों पर चल रही है बीते 8 साल में चंद पूंजीपतियों को ही फायदा मिला उनकी ही संपत्तियों में वृद्धि हुई है, बाकी बचे 135 करोड़ जनता को अच्छा खासा नुकसान सहना पड़ा है।

प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता धनंजय सिंह ठाकुर ने कहा कि रिजर्व बैंक के द्वारा बढ़ाई गई ब्याज दर के बाद अब हर सेक्टर में महंगाई और बढ़ेगी आम लोगों का मकान बनाने का सपना वाहन खरीदने का सपना सपना ही रहेगा । मोदी सरकार को मुनाफाखोरी की लत लग चुकी है। महंगाई का दंश झेल रही जनता को राहत देने के बजाय मोदी सरकार जनता को हर तरफ से परेशान करने में लगी है। पिछले आठ सालों में केंद्र सरकार ने बार-बार पेट्रोल और डीजल पर करों में वृद्धि कर जनता से 26 लाख करोड़ रुपये वसूल लिए हैं।