रायपुर/16 सितंबर 2023। तीजा के समय फिर से 16 यात्री ट्रेनों को रद्द कर देने से नाराज प्रदेश कांग्रेस कमेटी प्रदेश प्रवक्ता वंदना राजपूत ने केंद्र सरकार तीखा प्रहार करते हुए कहा कि केंद्र की सरकार हिंदू की संस्कृति, हिंदू परंपरा को तोड़ने के प्रयास लगातार कर रहे हैं, राखी का त्यौहार, तीजा का त्यौहार, नवरात्रि, दशहरा, दीपावली, छोटी दीपावली का त्यौहार यह सारे त्यौहार आने पर ही यात्री ट्रेनों को रद्द कर दिया जाता है।
क्या हिंदुओं के यह त्योहार से भाजपा के नेताओं को चिढ़ है? छत्तीसगढ़ में 15 साल के शासन में पूर्ववर्ती मुख्यमंत्री रमन सिंह को छत्तीसगढ़ की संस्कृति, छत्तीसगढ़ की परंपरा, छत्तीसगढ़ के रीति रिवाज से चिढ़ थी, वैसे ही व्यवहार केंद्र में बैठी भाजपा सरकार कर रही है।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता वंदना राजपूत ने कहा कि तीजा का त्यौहार छत्तीसगढ़ की एक मुख्य त्यौहार है तीजा के एक दिन पहले महिलाएं मायके में कड़ू भारत खाकर दूसरे दिन निर्जला उपवास रखती है, शंकर भगवान एवं पार्वती माता की पूजा अर्चना करके रात भर जागरण करते हैं, फिर अगले दिन माता-पिता के आशीर्वाद से नई साड़ी पहन कर फलाहार व्रत करके उपवास को तोड़ती है। तीजा के समय फिर से अचानक बिना कारण के 16 ट्रेन रद्द कर दी गई है।
यात्री ट्रेन के रद्द होने से महिलाएं अपने मायका नहीं जा पा रही है क्योंकि गरीब एवं मध्यम वर्ग के लिए ट्रेन ही सुलभ एवं सस्ता साधन का पर्याय माना जाता था। गरीब एवं मध्यम वर्ग के बजट इतना नहीं होता कि वह प्राइवेट गाड़ी करके आवागमन कर सके। महंगाई से जनता की रीड की हड्डी टूट चुकी है लेकिन केंद्र में बैठी सरकार को जनता के तकलीफ से कोई वास्ता नहीं वह अंधे, भैरे और गूंगे हो गए हैं।
प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता वंदना राजपूत ने कहा कि यूपीए सरकार में रोज रूटीन का जो यात्री ट्रेन तो चलती थी इसके अतिरिक्त जब त्यौहार आता था तो स्पेशल यात्री ट्रेन चलने का काम मनमोहन सिंह के सरकार में होता था। लेकिन मोदी सरकार में कार्य विपरीत हो रहा है, रोज रूटीन के ट्रेन का तो संचालन नहीं कर पा रहे हैं तो त्योहार के समय अतिरिक्त यात्री ट्रेन चलाना इनकी बस से बाहर है।
केंद्र में बैठी भाजपा के फेलवर नीति के कारण पिछले साढ़े तीन साल से 68,000 ट्रेनों को रद्द कर देने से जनता परेशान है। तानाशाही मोदी जी के सरकार में सब वर्ग परेशान है। छत्तीसगढ़ राज्य से भाजपा के 9 सांसद है लेकिन अपने पार्टी की चाटुकारिता के कारण छत्तीसगढ़ के जनता के हित में बात नहीं रख पाते, यह बहुत बड़ी विडंबना है।
सरोज पांडे को महिलाओं की हित की यदि चिंता है तो मोदी जी से प्रश्न क्यों नहीं करती कि तीजा के त्यौहार के समय ट्रेनों का अचानक रद्द कर देने से महिलाएं बहुत चिंतित एवं परेशान है। क्या सरोज पांडे यह प्रश्न पूछने की साहस जुटा पाएगी या सिर्फ महिलाओं की चिंता सिर्फ एक मात्र दिखावा है और कुछ नहीं।