वन मंत्री केदार कश्यप ने नवागढ़ ब्लॉक के गिधवा-परसदा पक्षी विहार का किया दौरा

रायपुर, 02 दिसंबर 2025 : प्रसिद्ध गिधवा-परसदा पक्षी विहार अपने प्राकृतिक सौंदर्य, शांत वातावरण तथा हर वर्ष बड़ी संख्या में आने वाले प्रवासी पक्षियों के लिए जाना जाता है। वन और जलवायु परिवर्तन मंत्री श्री केदार कश्यप ने आज बेमेतरा नवागढ़ ब्लॉक स्थित गिधवा-परसदा पक्षी विहार का दौरा किया।

मंत्री श्री कश्यप ने यहां विभिन्न तालाबों, प्राकृतिक आर्द्रभूमि, संरक्षण क्षेत्रों तथा प्रवासी पक्षियों के आसरे स्थलों का निरीक्षण कर विस्तृत जानकारी प्राप्त की। इस दौरान प्रधान मुख्य वन संरक्षक एवं वन बल प्रमुख श्री वी. श्रीनिवास राव, मुख्य वन्यजीव प्रतिपालक श्री अरुण पांडे, मुख्य वन संरक्षक दुर्ग सुश्री एम. मर्सी बेला, कलेक्टर श्री रणवीर शर्मा,वन मंडलाधिकारी दुर्ग श्री दीपेश कपिल उपस्थित रहे।

प्रवासी पक्षियों की प्रजातियों, संख्या और प्रवास चक्र की ली जानकारी

वन मंत्री श्री कश्यप ने अधिकारियों से वर्तमान मौसम में गिधवा-परसदा पहुंची प्रवासी पक्षियों कि प्रजातियों, अनुमानित संख्या, प्रवास काल, आहार प्रणाली तथा प्रजनन व्यवहार के संबंध में विस्तारपूर्वक जानकारी ली। उन्होंने विशेष रूप से बारहेड गूज, नॉर्दर्न शवलर, कॉमन टील, पिनटेल डक, पेंटेड स्टॉर्क, ओपनबिल्ड स्टॉर्क, ब्लैक-नेक्ड स्टॉर्क, सारस क्रेन सहित कई विदेशी प्रजाति पक्षियों के आगमन पर संतोष व्यक्त किया। मंत्री श्री कश्यप ने कहा कि गिधवा-परसदा वेटलैंड राज्य ही नहीं, बल्कि देश के प्रमुख बर्ड-वॉचिंग स्थल के रूप में उभर रहा है।

विदेशी प्रजाति पक्षियों के संवर्धन, सुरक्षा और पर्यटन विकास हेतु दिए महत्वपूर्ण निर्देश

वन मंत्री श्री कश्यप ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि प्रवासी पक्षियों के सुरक्षित प्रवास हेतु वेटलैंड क्षेत्र में मानवीय हस्तक्षेप न्यूनतम रखा जाए। विदेशी प्रजाति पक्षियों के अवैध शिकार, शोर-शराबा एवं अनियंत्रित मानव गतिविधियों पर पूर्ण प्रतिबंध सुनिश्चित किया जाए। तालाबों में जल का स्तर एवं प्राकृतिक आहार व्यवस्था संतुलित बनाए रखने हेतु वैज्ञानिक प्रबंधन अपनाया जाए।

पक्षियों की निगरानी के लिए नियमित मॉनिटरिंग टीम गठित की जाए

गिधवा-परसदा को इको-पर्यटन के रूप में विकसित करने की कार्ययोजना तैयार की जाए, ताकि स्थानीय ग्रामीणों को रोजगार के अवसर मिल सकें। उन्होंने यह भी कहा कि प्रवासी पक्षियों की उपस्थिति प्रदेश की जैवविविधता का महत्वपूर्ण संकेत है। इसे संरक्षित रखने में किसी भी प्रकार की कमी नहीं रहनी चाहिए। इस अवसर पर कलेक्टर ने क्षेत्र में चल रहे संरक्षण कार्यों एवं प्रबंधन के उपायों की जानकारी मंत्री को दी। उन्होंने बताया कि जिला प्रशासन द्वारा वेटलैंड संरक्षण, सफाई अभियान, पक्षी मित्र दल का गठन तथा जागरूकता कार्यक्रम निरंतर चलाए जा रहे हैं।

स्थानीय ग्रामीणों से की बातचीत, सुझाव भी मांगे

मंत्री श्री कश्यप ने आसपास के ग्रामीणों से चर्चा कर पक्षी विहार से जुड़े उनके अनुभव एवं सुझाव भी सुने। ग्रामीणों ने बताया कि हर वर्ष अक्टूबर-मार्च के दौरान पक्षियों के आगमन से क्षेत्र में पर्यावरणीय गतिविधियां और पर्यटन बढ़ता है। मंत्री श्री कश्यप ने कहा कि गिधवा-परसदा के विकास में स्थानीय समुदाय की भूमिका सबसे महत्वपूर्ण है। इस अवसर पर वन विभाग के अधिकारी, नवागढ़ ब्लॉक प्रशासन, स्थानीय पर्यावरण प्रेमी तथा कर्मचारीगण उपस्थित रहे।

गिधवा-परसदा को अंतर्राष्ट्रीय पहचान दिलाने का लक्ष्य

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मंत्री श्री कश्यप ने कहा कि राज्य सरकार की मंशा है कि गिधवा-परसदा पक्षी विहार को राष्ट्रीय स्तर के साथ-साथ अंतर्राष्ट्रीय बर्ड-वॉचिंग सर्किट में भी शामिल किया जाए। इसके लिए आधारभूत सुविधाओं का विकास, सूचनात्मक साइनबोर्ड, बर्ड वॉचिंग टॉवर, सोलर लाइटिंग, जैवविविधता अध्ययन केंद्र जैसी योजनाओं पर विस्तार से कार्य किया जाएगा। निरीक्षण के अंत में मंत्री श्री कश्यप ने अधिकारियों से कहा कि इस प्राकृतिक धरोहर को सुरक्षित रखने के लिए सभी विभाग समन्वय पूर्वक कार्य करें और आने वाले प्रवासी पक्षियों के लिए सुरक्षित एवं अनुकूल वातावरण सुनिश्चित करें।